शिमला, 27 नवंबर। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने ईपीएफओ, बद्दी, सोलन (हिमाचल प्रदेश) के क्षेत्रीय भविष्य निधि आयुक्त एवं प्रवर्तन अधिकारी तथा एक सलाहकार (निजी व्यक्ति) सहित तीन आरोपियों को शिकायतकर्ता से 10 लाख रु. (5 लाख रु. नकद व 5 लाख रु. के सेल्फ चेक) की रिश्वत मांगने एवं स्वीकार करने पर गिरफ्तार किया है।
सीबीआई के एक प्रवक्ता ने यह जानकारी देते हुए बताया कि सीबीआई ने दो आरोपियों के विरुद्ध 24.11.2024 को मामला दर्ज किया था जिसमें कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ), बद्दी, जिला सोलन (हिमाचल प्रदेश) के प्रवर्तन अधिकारी (ईओ), निजी सलाहकार, बद्दी, जिला सोलन (हिमाचल प्रदेश) तथा अन्य अज्ञात ईपीएफओ अधिकारी शामिल है। यह आरोप है कि आरोपी प्रवर्तन अधिकारी ने शिकायतकर्ता की फर्म के पीएफ मांग के मामले को, जो ईपीएफओ कार्यालय, बद्दी, सोलन (हिमाचल प्रदेश) के पास लंबित है, अनुकूल तरीके से निपटाने हेतु स्वयं और ईपीएफओ के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के लिए भी उक्त आरोपी निजी सलाहकार के माध्यम से 10 लाख रु. का अनुचित लाभ मांगा था। आरोप है कि शिकायतकर्ता को धमकाया गया था कि यदि उक्त मांग पूरी नहीं की गई तो वसूली 45-50 लाख रु. की होगी।
शिकायत मिलने पर सीबीआई ने जाल बिछाया और आरोपी सलाहकार (निजी व्यक्ति) को आरोपी प्रवर्तन अधिकारी व क्षेत्रीय भविष्य निधि आयुक्त, जिनकी भूमिका ट्रैप की कार्यवाही के दौरान सामने आई, की ओर से शिकायतकर्ता से 10 लाख रु. (5 लाख रु. नकद और 5 लाख रु. के सेल्फ चेक) की मांग करने एवं स्वीकार करने के दौरान पकड़ा। तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया और उन्हें शिमला में सीबीआई मामलों के माननीय विशेष न्यायाधीश की अदालत में पेश किया जा रहा है।
इसके अलावा सीबीआई ने बद्दी(हिमाचल प्रदेश), शिमला (हिमाचल प्रदेश) एवं चंडीगढ़ में सात स्थानों पर आरोपियों के आवासीय एवं आधिकारिक परिसरों की तलाशी ली। चंडीगढ़ में क्षेत्रीय भविष्य निधि आयुक्त के परिसर से 23.5 लाख रु. (लगभग) की नकदी और आपत्तिजनक दस्तावेज बरामद किए गए हैं।
इस मामले में जाँच जारी है।